उन्होंने कहा कि यद्यपि मेडिकल रिपोर्ट अंतिम साक्ष्य नहीं है लेकिन हम उनकी मौत में गड़बड़ी की किसी भी संभावना से इंकार करते हैं।
2.
कुछ लोग डायरी को मृत व्यक्ति का अंतिम बयान मानते हैं और उसे अंतिम साक्ष्य के रूप में प्रति ष् ठित करने की चे ष् टा करते हैं।
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जब मामला कोर्ट में विचाराधीन है और उसमें इतनी प्रगति हो चुकी है कि अंतिम साक्ष्य के रूप में केवल विवेचक की गवाही ही शेष है तो इस तरह से केवल राजनैतिक लाभ उठाने के लिए किए गए इस प्रयास को उचित कैसे ठहराया जा सकता है.
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दूसरे देशों में पुलिस समेत सभी जांच एजेंसियां जहां अंतिम साक्ष्य मिलने तक प्रगति की बाबत मौन ही रहती हैं, हमारे यहां मीडिया में, खासकर टीवी चैनलों पर प्रगति बताने की जांचकर्ताओं में जैसे होड़ ही लग जाती है, जिसका असर जांच पर निश्चय ही पड़ता है।